कोरोना काल मे आंदोलन करने हेतु विवश कर रहा है प्रबंधन - राज्य विद्युत परिषद जूनियर इंजीनियर संगठन (उ प्र)
लखनऊ। राज्य विद्युत परिषद जूनियर इंजीनियर संगठन (उ प्र) द्वारा पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम का निजीकरण करने के उत्तर प्रदेश शासन/ऊर्जा प्रबंधन के निर्णय जो कि उपभोक्ता एवम अभियंता/अवर अभियंता/कर्मचारी विरोधी हैं तथा अवर अभियंता संवर्ग को ए0सी0पी0 व्यवस्था के अंतर्गत प्राप्त अधिकारों का प्रबंधन द्वारा मनमाने ढंग से व्यख्या करके समाप्त करने के प्रयास तथा ग्रेड पे रुपये 4800 जो कि अवर अभियंता संवर्ग के लिए नान फंक्शनल है को लंबे समय से विलोपित कराने का प्रयास का ऊर्जा प्रबंधन से किया किन्तु प्रबंधन के नकारात्मक रवैये के कारण मजबूर हो कर इनका जोरदार विरोध एवम आंदोलन करने का निर्णय लिया गया। इस क्रम मे आज दिनांक 26/08/2020 से पूरे प्रदेश के वितरण/पारेषण/उत्पादन निगमों के जनपद मुख्यालय पर सदस्यों से सीधे संवाद एवम आगामी आंदोलन की तैयारी हेतु केन्द्रीय कार्यकरणी के सदस्यों का भ्रमण कार्यक्रम प्रारम्भ हुआ तथा आगामी 2 सिंतबर 2020 से प्रारम्भ हो रहे ध्यानाकर्षण/सहयोगात्मक आंदोलन को सफल बनाने हेतु आवश्यक दिशा निर्देश देने के साथ साथ निजीकरण से होने वाले दुष्प्रभाव से सभी को अवगत कराने हेतु व्यापक जनजागरण व जनसम्पर्क अभियान चलाये जाने पर विचार विमर्श किया गया जिसके तहत सभी जनप्रतिनिधियों को ज्ञापन और सोशल मीडिया में सतत प्रचार प्रसार भी किया जायेगा।
रा0 वि0 प0 जू0 ई0सं0 के केंद्रीय अध्यक्ष ई जी वी पटेल एवम केंद्रीय महासचिव ई जय प्रकाश ने जारी संयुक्त बयान में कहा कि ऊर्जा प्रबंधन को अवर अभियंत संवर्ग की जायज मांगो से संबंधित मांगपत्र प्रेषित किया जा चुका है जिनके निस्तारण हेतु स्पष्ट सहमतियो के बावजूद पावर कारपोरेशन प्रबंधन द्वारा अभी तक कोई भी सकारात्मक रुख नही दिखाया गया,जिस कारण इस कोरोना काल मे अवर अभियंता संवर्ग को आंदोलन करने हेतु विवश होना पड़ रहा है उन्होंने आगाह किया कि अगर प्रबंधन के रवैये में कोई बदलाव नही आया तो अगले चरण में आंदोलन और भी व्यपाक तथा विशाल रूप मे होगा ।एवम इससे होने वाले किसी भी असुविधा के लिए ऊर्जा प्रबंधन स्वयंग उत्तरदायी होगा।