भाजपा सरकार की कुनीतियों के चलते रोजगार के अवसर हुए है कम- पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव
लखनऊ। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने आगामी 12 जनवरी 2021 को स्वामी विवेकानंद जयंती को प्रदेश
के हर जनपद में युवा घेरा कार्यक्रम के रूप में मनाने का आव्हान किया है।
स्वामी विवेकानंद ऐसे संत थे जिन्होंने अध्यात्म को सामाजिक सरोकारों से भी
जोड़ा था। उनके राष्ट्रवाद में गरीबों, वंचितों के प्रति त्याग, सेवा और
समर्पण को प्राथमिकता थी। उन्होंने विश्व को भारतीय ज्ञान, संस्कृति एवं
गौरव का बोध कराया।
आज नौजवानों के सामने मंहगी होती शिक्षा और रोजगार बड़ी
समस्या हैं। जहां नौजवान सरकारी विसंगतियों के खिलाफ आवाज उठाते हैं उनका
उत्पीड़न शुरू हो जाता है। उन पर तमाम आरोप लगते हैं, फर्जी मुकदमों में
फंसाया जाता है। युवाओं-छात्रों का भविष्य बिगाड़ने के लिए उन पर एन.एस.ए.
भी लगा दिया जाता है। नौजवानों की जिंदगी के सामने आज अंधेरा छाया हुआ है।
भाजपा सरकार की कुनीतियों के चलते रोटी-रोजगार के अवसर कम हुए है।
भाजपा राज में सबसे ज्यादा असुरक्षित है
बहन-बेटियां जिनके साथ दुष्कर्म के काण्ड बढ़ते जा रहे हैं। छोटी-छोटी
मासूम बच्चियां तक हैवानियत का शिकार बनाई जा रही हैं। महिलाओं का रास्ता
चलना मुश्किल हो गया है। कानून व्यवस्था चौपट है। समाजवादी सरकार ने अपराध
नियंत्रण के लिए जो यूपी डायल 100 नं0 और 1090 वूमेन पावर लाइन सेवाएं शुरू
की थी उन्हें बर्बाद कर दिया गया है। मुख्यमंत्री का रोम्यों स्क्वाड
कहीं नज़र नहीं आता है।
कोरोना संकट में शिक्षा संस्थानों में बंदी की वजह
से आनलाइन शिक्षा प्रारम्भ करने का खूब समां बांधा गया है लेकिन सच यह है
कि इससे पढ़ाई कम, दिक्कतें ज्यादा बढ़ी है। स्मार्टफोन अथवा कम्प्यूटर के
बिना यह पढ़ाई सम्भव नहीं, गांवों में नेट की समस्या के अलावा शिक्षण कार्य
में भी असुविधा होती है। गरीब और मध्यम वर्ग के परिवार के लिए तो इस पढ़ाई
में दिक्कत ही दिक्कत है। शिक्षा संस्थाओं में वाईफाई सुविधाएं भी नहीं दी
गई। समाजवादी पार्टी युवा शक्ति को आगे बढ़ाने को प्राथमिकता देती रही
है।